Shivsena BMC Demolished Kangana’s Office
Kangana Vs Uddrav Thakarey (Photo Credit : News18) |
हाईकोर्ट की संपत्ति के ध्वस्त पर रोक
दिनांक 19 Mar 2020 को हाईकोर्ट ने एक सुनवाई के दौरान महाराष्ट्र के हर ‘नगर निगम’ को कोरोना महामारी के दौरान किसी भी संपत्ति पर रोक लगाई थी साथ मे कहा गया था की अगर किसी असाधारण कारणों से ऐसा करना चाहता है तो उसे अदालत की अनुमति लेनी होगी ! इस ‘रिट याचिका’ को मुंबई की ‘अल-फ़तेह को-ऑपरेटिव हाऊसिंग सोसाइटी’ द्वारा बीएमसी के खिलाफ डाली गई थी ! दो जजो (जज एसजे कथावल्ला, जज आराई चागला) की बेंच ने सुनवाई की थी ! [1]
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Mar 19 2020, High Court Order To Stop Demolistion Till Corona Pandemic |
परिवर्तन पर तोड़ने के नियम
हर राज्यों मे अपनी म्युनिसिपल एक्ट होता है उसके हिसाब से तोड़ाफोड़ा जाता है !
- नोटिस : दिया जाना चाहिए (जो कम से कम 7 दिन का होना चाहिए था)
- सम्मन : उसके ना आने पर और जवाब देने पर सम्मन जारी किया जाता है !
- निपटान : सामने वाले का जवाब लिया जाता है और उसका निपटान किया जाता है ! अगर नहीं होता
- आदेश : फिर आदेश दिया जाता है ! [2]
These are two peoples whose BMC send notice in a same day with different Rules. Left : Manish Malhotra, Right : Kangana Ranawat (Photo Credit : ZeeNews) |
बीएमसी का कहना, दोहरा चरित्र और क्या हुआ
कुछ साल पहले कंगना ने बीएमसी से नक्शा पास कराया था जिसका बीएमसी द्वारा ‘अनुमोदन’ दिया गया था लेकिन कंगना ने उसमे कुछ छोटे-छोटे परिवर्तन किये ! बीएमसी अब इस आधार (‘जहाँ बाथरूम होना चाहिए वहाँ ऑफ़िस है’, ‘अनधिकृत पेंट्री’, ‘अनधिकृत रसोई’, ‘अनधिकृत शौचालाय’, ‘एक सीढ़ी का अभिविन्यास को बदलना’, और ‘बालकनी को घेरना गमले लगाकर’) पर करवाई करेगी ! बीएमसी ने नोटिस सिर्फ २४ घंटे का दिया जिसमे कंगना की टीम ने जवाब दे दिया और कम से कम बीएमसी को नोटिस मे सात दिनों दिए जाने चाहिए था ! लेकिन बीएमसी ने जवाब को ख़ारिज करते हुए अगले दिन सुबह (बिना कोर्ट के आदेश, कोर्ट के 19 Mar 2020 के आदेश की अवहेलना) कंगना के ऑफ़िस ‘बुल्डोज़र और हथोड़ा’ लेकर पहुँचती है और बंद दरवाज़े का ताला तोड़कर बिना इजाज़त तोड़ना शुरू कर देती है ! पूरा ऑफ़िस बर्बाद कर दिया जाता है जिसमे उसके सोफा, टेबल, गेट, पंखे शामिल है ! [3]
जीन्यूज की खबर के अनुसार, दूसरी तरफ बीएमसी ने एक ही जैसे मुक़दमे मे दो तरह की करवाई की पोल खोल दी गई ! बीएमसी ने दो लोगो को नोटिस भेजा था जिसमे एक कंगना और दूसरा मनीष मल्होत्रा का बँगला ! कंगना रानौत और मनीष मल्होत्रा को एक ही दिन मे एक जैसे मामले मे ‘कारण बताओ नोटिस’ भेजा लेकिन कंगना को २४ घंटे दिए गए लेकिन मनीष मल्होत्रा को 07 दिन दिए गए ! [6]
संजय जी मुझे अभिव्यक्ति की पूरी आज़ादी है
— Kangana Ranaut (@KanganaTeam) September 6, 2020
मुझे अपने देश में कहीं भी जाने की आज़ादी है ।
मैं आज़ाद हूँ । pic.twitter.com/773n8XDESI
कंगना और संजय राउत का ज़ुबानी झगड़ा
सुशांत मर्डर केस से देश मे हर जगह गुस्सा बढ़ता जा रहा था जिसमे महाराष्ट्र की त्रिकोणी सरकार द्वारा पुलिस करवाई पर सवाल लगातार खड़े होते जा रहे थे ! हाली मे नार्कोटेस्ट डिपार्टमेंट द्वारा भी जांच की जा रही है ! कंगना पहले से बॉलीवुड पर पोल (ड्रग्स, गुटबाज़ी को लेकर) खोलती जा रही थी ! हाली मे पहले शिवसेना के बड़े नेता संजय राउत ने एक टीवी पत्रकार से बात करते हुए कंगना को ‘हरामखोर लड़की’ कहा और साथ मे यहाँ तक कह दिया उनके बाप को यहाँ लाना पड़ेगा जिसमे ‘दिया मिर्जा’ ने भी उसको गलत बताया था ! इस बात के बाद अभिनेत्री कंगना ने संजय राउत को वीडियो सन्देश के वीडियो को सोशल मीडिया मे डालते हुए उनके जवाब और उनसे सवाल कर दिया ! देश गुस्सा बढ़ता देख संजय राउत ने ‘हरामखोर’ का मतलब ‘सरारती या नटखठ’ बताया ! जब सरकार की बीएमसी द्वारा कंगना रानौत को नोटिस भेजे गए और ऑफ़िस गिराने की बात की गई जिसके बाद कंगना रानौत ने ‘मुंबई प्रशासन (बिना नाम लिए) बाबर और उसकी सेना कहा जो बुल्डोज़र और हथोड़ा लेकर दूसरे दिन ही ऑफ़िस पहुँच गए’ और साथ मे ‘पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर से मिलान करते हुए मुंबई को बताया’ ! मुंबई पुलिस का हाल पहले से ही दुनिया जानती है !
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Court Orders Against BMC |
हाईकोर्ट की फटकार, राजपाल ने बीएमसी को सम्मन
दिनांक 09 Sep 2020 को कंगना रानौत की टीम बीएमसी की तोड़ फोड़ की करवाई के खिलाफ हाईकोर्ट पहुंची जिसमे हाईकोर्ट ने सुनवाई करने के बाद बीएमसी की करवाई को गलत बताते हुए तोड़फोड़ पर रोक लगा दी है और बीएमसी को नोटिस जारी कर इस मामले मे जवाब तलब किया है ! कोर्ट ने साथ मे बीएमसी के इरादे (Malafide) पर ही सवाल खड़े कर दिए है ! [4] इससे साबित होता है बदले की करवाई की गई !
महाराष्ट्र के राजपाल ‘भारत सिंह कोठारिया’ ने कंगना रानौत के पाली हिल स्थित कार्यालय के विध्वंस अभियान को लेकर मुख्यमंत्री के प्रमुख सचिव और दो बीएमसी के दो बड़े अधिकारियो को भी तलब किया है ! [5]
#DeathOfDemocracy pic.twitter.com/Ts5GP9deOh
— Kangana Ranaut (@KanganaTeam) September 9, 2020
सवालिया निशान
सवाल 1 : जब हाईकोर्ट की रोक थी तो बीएमसी ने किस ताकत (ज़िला मजिस्ट्रेट या कोर्ट से इजाज़त मतलब सर्च वारंट लिया) से ऑफ़िस गिराया और ये हाईकोर्ट के आदेश की अवहेलना नहीं ?
सवाल 2 : बीएमसी को इतनी जल्दी क्यूँ थी जो सिर्फ एक दिन का समय दिया गया ? जबकि आम मामलो मे भी 7 दिन की नोटिस दिया जाता था ?
सवाल 3 : बंद ऑफ़िस का ताला तोड़कर बीएमसी ने फंडामेंटल राइट (राइट तो प्राइवेट प्रोपर्टी जैसे) का उल्लंघन के साथ साथ चोरी और डकैती का आरोप नहीं लगना चाहिए ?
सवाल 4 : क्या राज्य सरकार मौखिक जंग (दोनों तरफ से) का मुद्दा बनाकर किसी के घर और ऑफ़िस को टारगेट करेगी ?
सवाल 5 : अगर बीएमसी के नियम कुछ ज्यादा ताकत (बंद ऑफ़िस मे घुसना, तोड़ना फोडना जैसे) देते है तो क्या कोर्ट मे इसके चुनौती नहीं देनी चाहिए ? कल को आप घर के अंदर गमला, सोफा, बाथरूम जैसी चीज़े भी बीएमसी से पूछनी पड़ेगी !
सवाल 6 : अगर बीएमसी के हिसाब से किचेन, बाथरूम, बालकनी मे गालमे गलत थे तो पंखे, लाइट, सोफा, सेट्स, सजावटी सामान, दिवाल जैसी सामानों (करोड़ो की कीमत) और मंदिर को क्यूँ बर्बाद किया गया ?
सवाल 7 : क्या राज्य सरकार इतनी कमजोर है या उसे लगता है एक अभिनेत्री उसकी सरकार गिरा देगी ? हाली मे हुए कई कांड मे राज्य सरकार के मंत्रियों के नाम आ रहे इसलिए क्या ?
सवाल 8 : अगर अभिनेत्री कंगना रानौत ने बॉलीवुड की पोल खोल रही थी तो क्या इसको राज्य सरकार अपने खिलाफ समझते हुए ‘राइट तो फ़्रीडम’ का हनन नहीं कर रही ?
सवाल 9 : बीएमसी ने एक ही दिन दो लोगो को एक ही तरह के मामले मे नोटिस जारी की जिसमे दोनों के लिए अलग अलग समय एक को 24 घंटे दूसरे को 7 दिन, क्यूँ ?
जनता ने दिखाई सरकार और उनके लोगो को आइना
Kangana did everything within her property ... SRK encroached public land ... and nothing happened ?? pic.twitter.com/FsWxlPZmpq
— No Conversion (@noconversion) September 9, 2020
१- यूसर नोकन्वर्जन : कंगना ने अपनी संपत्ति के भीतर सब कुछ किया ! शाहरुख खान ने सावर्जनिक भूमि का अतिक्रमण किया था ! और कुछ नहीं हुआ ?
Bandra east. Near railway station. Most of majority from peaceful community. Ek baar yaha aag bhi lagi thi i was there. 10-15 saal se koi action nahi liya abhi tak. Shameless BMC. pic.twitter.com/Kt3lcsLN3R
— Durgesh Gupta (@DurgeshGupta_) September 9, 2020
२- यूसर दुर्गेस गुप्ता : बांद्रा पूर्व ! रेलवे स्टेशन के पास ! शांति दूत समुदाय से अधिकांश ! एक बार यहाँ आग भी लगी थी मैं वहाँ था ! 10-15 साल से कोई करवाई नहीं लिया अभी तक ! बे शर्म बीएमसी !
When they can't demolish Salman khan house being illegal apartment then why they demolished Kangana office just because she spoke about Sushant's case , she opened her mouth against drugs mafia ...ban these people forever ..#DeathOfDemocracy @KanganaTeam pic.twitter.com/hKs7pnBTY8
— Shweta Gupta (@ShwetaG67397269) September 9, 2020
३- यूसर स्वेता गुप्ता : जब वे सलमान खान के घर को अवैध अपार्टमेंट नहीं बना सकते है तो उन्होंने कंगना के कार्यालय को सिर्फ इसलिए ध्वस्त कर दिया क्युकी उन्हों ने सुशांत के मामले मे बात की थी, उन्हों ड्रग्स माफ़िया के खिलाफ अपना मुहँ खोला ! इन लोगो पर हमेशा के लिए प्रतिबंध लगा देना चाहिए !
Oh @priyankac19 ji deleted this tweet on BMC. Shiv Sena was never this coward. 😁😁 pic.twitter.com/VjREopRHYa
— अंकित जैन (@indiantweeter) September 9, 2020
४- यूसर अंकित जैन : ओह प्रियंका चतुर्वेदी ने बीएमसी के इस ट्वीट को डिलीट कर दिया ! शिवसेना कभी भी इस तरह कायर नहीं थी ! (पहले प्रियंका चतुर्वेदी कांग्रेसी थी तब शिवसेना की बीएमसी मे घोटाले बता रही थी लेकिन वो ट्वीट डिलीट कर दिया)
नोट : एनसीपी के दोहरा चरित्र इससे पता लगाया जा सकता है की
१- कंगना के मैटर मे शरद पवार ने कुछ दिन पहले उद्द्रव से कहा था रिपब्लिक और कंगना पर रोक लगाओ ! कल कह रहे है बीएमसी की करवाई गलत है इसको टाला जा सकता था ! साथ मे कांग्रेस भी शामिल और साथ मे चुप!
२- सुशांत मर्डर केस मे महाराष्ट्र सरकार के गृहमंत्री अनिल देशमुख जो एनसीपी से है उन्होंने कहा था की केस सीबीआई को नहीं देंगे ! लेकिन वही इनके दूसरे नेता मीडिया को बताते हुए कहते है की हमने गृहमंत्री को पत्र दिया है की सीबीआई की जाँच होनी चाहिए !
#DeathOfDemocracy pic.twitter.com/JVj3VN40x3
— Kangana Ranaut (@KanganaTeam) September 9, 2020
#DeathOfDemocracy pic.twitter.com/cpv0A1TJjy
— Kangana Ranaut (@KanganaTeam) September 9, 2020
#DeathOfDemocracy pic.twitter.com/pbLleNulYa
— Kangana Ranaut (@KanganaTeam) September 9, 2020
संदर्भ
[2] पंजाब मे एक ऐसा केस हुआ जिसमे कोर्ट ने कुछ नियम के बारे मे
[3] बीएमसी और कुछ कोर्ट के आदेश
[4] हाईकोर्ट ने मना बीएमसी ने करवाई गलत की
[5] राजपाल ने प्रमुख सचिव और बीएमसी के अधिकारियो को बुलाया
[6] बीएमसी एक दिन एक तरह का केस नोटिस के दिन अलग